Saturday, November 23, 2024
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APJ कॉलेज में 8वें इंटरनेशनल डिजाइन वीक का हुआ उद्घाटन

by News 360 Broadcast

न्यूज़ 360 ब्रॉडकास्ट (जालंधर/ एजुकेशन)

जालंधर: शहर के एपीजे कॉलेज, एपीजे एजुकेशन के संस्थापक अध्यक्ष डॉक्टर सत्यपाॅल एवं एपीजे एजुकेशन की अध्यक्ष श्रीमती सुषमा पॉल बर्लिया के मार्गदर्शन में उत्तर भारत के सर्वश्रेष्ठ डिजाइन कॉलेजों के रूप में अपनी विशिष्ट पहचान बना चुका है। कॉलेज के डिजाइन,एप्लाइड आर्ट्स,मल्टीमीडिया, स्कल्पचर्स, प्रोडक्ट डिजाइन एवं फाइन आर्ट्स विभाग द्वारा आठवें इंटरनेशनल डिजाइन वीक का आगाज़ “डिज़ाइन थिंकिंग” विषय पर किया गया। डिजाइन वीक के पहले दिन स्रोत वक्तायों के रूप में “NO Tomato” एड एजेंसी नीदरलैंड के सीनियर आर्ट डायरेक्टर बडी लुनेन (Budi Loonen) एवं गुरु नानक देव यूनिवर्सिटी के आर्किटेक्चर डिपार्टमेंट के असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ रावल सिंह औलख पहुंचे।

प्राचार्य डॉ नीरजा ढींगरा ने एपीजे सत्या यूनिवर्सिटी की प्रो वाइस चांसलर डॉ सुचरिता शर्मा एवं स्तोत्र वक्ताओं का अभिनंदन करते हुए कहा कि निश्चित रूप से आपकी रचनात्मक एवं दूरदर्शिता हमारे विद्यार्थियों का मार्गदर्शन करेगी। उन्होंने कहा कि 2012 से आरंभ किया गया यह इंटरनेशनल डिजाइन वीक नीदरलैंड, चीन एवं सिंगापुर के प्रतिष्ठित डिजाइनर्स के सहयोग से नए मापदंड स्थापित करता ही रहा है। उन्होंने कहा कि कॉलेज के विद्यार्थियों को अंतर्राष्ट्रीय डिजाइन वीक का विशेष रूप से इंतजार रहता है ताकि वे अपनी रचनात्मकता को एक नई दिशा देते हुए अनुभवी स्रोत वक्ताओं से डिजाइन की बारीकियां को सीख सकें।

वहीं उन्होंने बताया कि इस डिजाइन वीक में 200 विद्यार्थियों के लिए 16 ग्रुप बनाए गए हैं जिसमें वह अपने प्रोडक्ट की तैयारी करेंगे। डिजाइन थिंकिंग विषय पर शुरू हुई। इस डिजाइन वीक में बडी लूनेन ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए कहा कि कोई भी नए डिजाइन की रचना करने के लिए सबसे पहले हमें लोगों के बीच में जाकर रिसर्च करनी होगी कि उनकी ज़रूरतें क्या है और किस तरह से उनकी जिंदगी को नए डिजाइन के उत्पादन बनाकर उनकी जिंदगी को सुविधाजनक बना सकते हैं। इस डिजाइन वीक में उन्होंने विद्यार्थियों को दिव्यांग लोगों को मिलने, उनकी समस्याओं को जानने एवं उसके हिसाब से प्रोडक्ट बनाने के लिए प्रेरित किया जो उनकी जिंदगी को आसान बना सकते हैं।

डॉ औलख ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए कहा की डिजाइन एक प्रक्रिया है चाहे वह कोई भी क्षेत्र हो आर्किटेक्चर का पेंटिंग का एवं डिजाइन का हम कदम-दर-कदम आगे बढ़ सकते हैं रिसर्च के माध्यम से ही हम श्रेष्ठ डिजाइन का निर्माण करते हुए समाज के विकास में अपना योगदान दे सकते हैं। डिजाइन वीक के शुभारंभ समारोह में “आउट ऑफ़ द बॉक्स आर्किटेक्ट्स एंड इंटीरियर” जालंधर की आर्किटेक्चर सुश्री सीरत भी उपस्थित थीं। इस कार्यक्रम के सफलतापूर्वक आयोजन करने के लिए डाॅ ढींगरा ने डिजाइन विभाग, एप्लाईड आर्ट विभाग मल्टीमीडिया विभाग एवं फाइन आर्ट्स विभाग के प्राध्यापक वृंद के प्रयासों की भरपूर सराहना की

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